तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार को धो डाला
पटना। बिहार की राजनीति में इन दिनों तस्वीरों के जरिए सियासी लड़ाई लड़ी जा रही है. जी हां बिहार में इन दिनों राष्ट्रीय जनता दल और जनता दल यूनाइटेड के नेताओं के बीच फोटो वार चल रहा है. जनता दल यूनाइटेड प्रवक्ताओं ने तेजस्वी यादव की एक लड़की के साथ फोटो सार्वजनिक की तो जवाब में आरजेडी भी फोटो वार में कूद पड़ा. जनता दल यूनाइटेड के प्रवक्ता ने एक बड़ी गलती की जब उसने तेजस्वी यादव की तस्वीर को गलत तरीके से सार्वजनिक कर दिया. जेडीयू के प्रवक्ता संजय सिंह ने पटना में प्रेस कॉन्फ्रेंन्स आयोजित कर दावा किया कि फोटो में दिख रही महिला के साथ तेजस्वी यादव रंगरेलियां मना रहे हैं. वहीं जब जवाब में राष्ट्रीय जनता दल ने जदयू प्रवक्ता संजय सिंह के बेटे और बेटी की तस्वीर जारी की तो जदयू प्रवक्ता नीरज कुमार भड़क गए. जिसके बाद जदयू प्रवक्ता नीरज कुमार ने सीधे लालू यादव को धमकी दे डाली. नीरज कुमार ने लालू प्रसाद यादव को धमकी देते हुए कहा कि अगर लालू यादव मर्यादा भूलें तो उन्हें राजनैतिक श्मशान पहुंचा दिया जाएगा.
तेजस्वी यादव का करारा जवाब
वहीं तेजस्वी यादव ने फोटो के जरिये सवाल उठाने वाले को करारा जवाब दिया है. तेजस्वी यादव डंके की चोट पर कह रहे हैं जेडीयू नेताओं ने एक लड़की के साथ उनकी जो तस्वीर वायरल की है वो बिलकुल फोटोशॉप नहीं है, तस्वीर में वो खुद मौजूद हैं. तेजस्वी ने अपनी बात फेसबुक पोस्ट में भी लिखा, ”आदरणीय नीतीश चाचा ने राजनीति का स्तर इतना गिरा दिया है कि एक लड़की के साथ तस्वीर सामने कर, मेरा राजनीतिक चरित्र हनन करने का प्रयास किया। हम तो ज़हरीली शराब माफ़िया के साथ उनकी फ़ोटो दिखा छवि कुमार को आइना दिखाने का काम कर रहे थे, फोटो मेरा दिखया गया वह उस समय का है,जब हम राजनीति में नही आये थे, उस समय हम आईपीएल खेला करते थे। और उन IPL सीज़न में मैच के बाद सभी खिलाड़ीयों और खेल अधिकारियों के साथ “After match पार्टी” होती थी।
लेकिन नीतीश कुमार आज बिल्कुल हताश और असहज हैं। हताशा इस बात की कि उन्हें आभास हो गया है कि उन्हें पलटी मारने के राजनीतिक स्टंटबाजी में खुद ही अपने पाँव पर कुल्हाड़ी मार दी है। मरता क्या नहीं करता! हताशा में अपनी बची खुची इज़्ज़त भी मिटाने पर तुल गए हैं। हम सच्चे है इसलिए ख़ुद सामने आकर आरोपों जवाब दे रहे है। आपकी तरह रोबोट आगे नहीं करते। मैं मर्द का बच्चा हूँ और अपने जवाब ख़ुद देता हूँ।
* नीतीश जी खुद तो आमने सामने दो चार होने की हिम्मत नहीं, अपने बिना जनाधार के रोबोटनुमा प्रवक्ताओं में अपनी घटिया विचारों को प्रोग्राम करके अपने शब्द बुलवा रहे हैं।
* मैं इन प्रवक्ताओं और उनके निम्नतम स्तर को दोष नहीं देता हूँ, ये बेचारे तो अपने पलटू राम हाई कमान के हुक्म की तामील भर कर सकते हैं। आगे बढ़ने की तो सबकी इच्छा होती है, तो ये भी MLC या MLC का renewal या किसी आयोग का सदस्य के लालच में आदेशानुसार अनर्गल बकने को मजबूर हैं। यह तो नीतीश कुमार की घटिया, नारी विरोधी सोच को दर्शा भर रहे हैं।
* ये जो फोटो दिखा रहे हैं, उसमें कुछ भी नया या छुपाने वाली बात नहीं है। इस फोटो से 2010 से सभी वाकिफ़ हैं।
* और मैं इससे इंकार भी नहीं कर रहा और ना ही इसे फोटोशॉप किया हुआ बता रहा हूँ। इस फोटो में बेशक़ मैं ही हूँ।
* मैं आईपीएल में डेल्ही डेयर डेविल्स की टीम में था और हर मैच के बाद तब “आफ़्टर मैच पार्टियाँ” भी हुआ करती थीं। यह फोटो भी ऐसी किसी एक पार्टी का ही है। जिसमें खिलाड़ी, मशहूर हस्तियां, समर्थक, उनके परिवार इत्यादि आते थे। टीम के फैंस व प्रशंसक खिलाड़ियों या शामिल होने वाले अभिनेताओं, मशहूर हस्तियों के साथ फोटो खिंचवाते थे। ऐसे में किसी युवती ने मेरे साथ भी फोटो खिंचवा लिया तो इसमें इतनी हाय तौबा इनके घटिया स्त्री विरोधी सोच का सूचक है।
* मुझसे राजनीतिक प्रतिशोध लेने के लिए, अपना सियासी उल्लू सीधा करने के लिए ये अपनी नीच स्त्री विरोधी सोच का प्रदर्शन कर रहे हैं।
* मुझपर निशाना साधने के लिए ये एक अपरिचित महिला का मात्र एक फोटो के आधार पर चरित्र हनन कर रहे हैं।
* सार्वजनिक रूप से एक युवती के चित्र को दिखा, मेरे ऊपर आरोप सिद्ध करने के लिए एक युवती पर लांछन लगा रहे हैं। ये अनजान महिला सम्भवतः आज किसी की पत्नी होंगी, किसी की माँ होंगी, एक घर की इज़्ज़त, बहु होंगी।
* इस महिला की इज़्ज़त से खेलने का नीतीश कुमार को क्या अधिकार है? इस महिला फैन ने कौन सा पाप कर दिया कि उनकी इज़्ज़त को नीतीश कुमार सरे आम उछलवा रहे हैं? आज इस महिला, उनके परिवार पर क्या बीत रही होगी?
* एक महिला को घर की दहलीज लाँघने पर जद यू वाले चरित्र हनन करेंगे? खराब विचारों का बताएंगें? महिलाओं को किसी खेल खिलाड़ी का प्रशंसक बनने की अनुमति नहीं?
* हम समाजवादी हैं। हम निम्न और मध्यम वर्ग की बात करते हैं। मध्यम वर्ग और निम्न वर्ग के सहूलियत के लिए ट्रेन चलवाते हैं। उनका नाम जन साधारण और गरीब रथ रखते हैं। आपकी तरह किसी ट्रेन का नाम अर्चना या उपासना एक्सप्रेस नहीं रखते।
* वैसे तो बिहार का बच्चा बच्चा जानता है पर अंतरात्मा बाबू अपने मुँह से खुद बताएँ कि किसकी उपासना और अर्चना में उपासना और अर्चना एक्सप्रेस का उनके मनोमस्तिष्क से निकल धड़ाधड़ पटरी पर दौड़ने लगती है?
* बिहार एक्सप्रेस या बाढ़ एक्सप्रेस तो कभी नहीं चला, ये अर्चना एक्सप्रेस और उपासना एक्सप्रेस कैसे छुक छुक दौड़ने लगी? अब नीतीश बाबू पूजा पाठ और भक्ति वाला कोण मत ही डालिएगा, वास्तविकता पूरा बिहार जानता है।
* आपके सहयोगी BJP ने चुनाव में ख़ूब फ़ोटोशॉप कर ऐसी तस्वीरों का प्रयोग किया था, उनसे पूछिए उन्हें क्या मिला?
* आप बिहार भवन में सामान रखवाकर द्वारका जाते है और फिर द्वारका से अंधेरे में गुड़गाँव में कहाँ जाते है उसकी जानकारी अपने प्रवक्ताओ को भी दे दीजिए। मेरी तो 6 बहने दिल्ली में रहती है।
अपना स्तर उठायें नीतीश चाचा जी।
वहीं जेएनयू के शोध छात्र अमित कुमार फेसबुक पर लिखते हैं, ”ब्राह्मणवाद और सामाजिक पूंजी का इतना वर्चस्व है की ये आदमी जो एक वार्ड तक का चुनाव नहीं जीत सकता है. लेकिन देखिए इसका मनबड़ी और अकड़ जो एक कद्दावर जननेता लालू जी के बारे में अनाप शनाप बोल रहा है. इसका तो कोई आरएसएस का बैकग्राउंड भी नहीं रहा है. इसका बैकग्राउंड तो AISF और सीपीआई का रहा है. लेकिन देखिए सामंती अकड़. अभी ये जनाब जेएनयू से लेकर बिहार तक के कई क्रान्तिकारी साथियों के आदर्श बने हुए हैं. ऐसा आदर्श की इनके हर मंच पर उपस्थित होकर क्रांति वाचना करते. सबसे मुख्य बात यह है इन वामपंथी दलों में कई नीरज सिंह है. बस पहचानने की ज़रूरत है. इन सामंती गैंग को लालू जी से चिढ़ तो बहुत जयदा है. दिल की गहराई तक है. लेकिन इनके बूते की बात नहीं है कि लालू जी का कुछ बिगाड़ पाएं. इसीलिए लालू जी कहते हैं जब तबला बजेगा धिन धिन तब एक पर बैठेगा तीन तीन.”
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Maulana Abul Kalam Azad, also known as Maulana Azad, was an eminent Indian scholar, freedo…