NRC और CAB को लेकर भारत बंद का ऐलान
नागरिकता कानून के खिलाफ देश के कई कोनों से विरोध की आवाजें आ रही हैं. दिल्ली, अलीगढ़, मुंबई, लखनऊ, बनारस समेत कई शहरों में प्रदर्शन किया जा रहा है. दिल्ली की जामिया मिल्लिया इस्लामिया यूनिवर्सिटी में छात्रों और पुलिस की हिंसक झड़प के बाद देशभर के छात्रों ने जामिया स्टूडेंट्स को अपना समर्थन दिया है. वहीं, अमेरिका की 19 प्रतिष्ठित जिसमें हार्वर्ड और ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी ने छात्रों को सपोर्ट कर कहा है कि इस बिल ने लोकतंत्र की अंर्त्मात्मा को झकझोंर दिया है..
वही आज नागरिकता कानून के खिलाफ देशभर के कई हिस्सों में प्रदर्शनों के मद्देनजर यूपी पुलिस ने राज्य में धारा 144 लागू कर दी है. जिसपर यूपी के डीजीपी ने ट्वीट कर कहा कि , ‘UP में धारा 144 लागू है, और 19 दिसंबर के लिए किसी भी सभा के लिए कोई अनुमति नहीं दी गई है. कृपया इसमें भाग न लें. पेरेंट्स से अनुरोध है कि वो अपने बच्चों को समझाए.’
आपको बता दें कि आज देश के कई शहरों में अलग-अलग संगठनों ने नागरिकता कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन बुलाया है.
इसके अलावा समाजवादी पार्टी ने भी घोषणा की है कि वो गुरुवार यानि कि आज CAA के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करेंगे. धारा 144 लागू करने को लेकर समाजवादी पार्टी ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा है कि 19 दिसंबर को तय धरना जरूर होगा क्योंकि बीजेपी लोकतंत्र और संविधान की सभी मर्यादाओं को तार-तार करने पर तुल गई है. बीजेपी सरकार ने नागरिकता संशोधन एक्ट लाकर देश में बंटवारे की राजनीति को बढ़ावा देने का काम किया है. पूरे देश में इसका जनप्रतिरोध जारी है. केंद्र सरकार ने तानाशाही के साथ अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर भी प्रतिबंध लगाया जा रहा है. वही गृह मंत्री अमित शाह ने आजतक के ‘एजेंडा आजतक’ में नागरिकता कानून पर हो रहे प्रदर्शन, नागरिकता कानून के अलग-अलग आयामों, एनआरसी, अर्थव्यवस्था, बेरोजगारी, महाराष्ट्र के नतीजों और झारखंड चुनाव पर विस्तार से बात करते हुए कहा कि किसी भी मुख्यमंत्री को नागरिकता संशोधन कानून के लिए मना करने का कोई अधिकार नहीं है. जब संसद ने कानून बना दिया तो यह पूरे देश में लागू होगा. उन्होंने कहा कि नागरिकता केंद्र की सूची में है. जब इसे संसद के दोनों सदनों ने पास कर दिया है तो यह पूरे देश में लागू हो गया है. किसी भी राज्य को मना करने का अधिकार नहीं है. कानून बन चुका है और यह पूरे देश के लिए लागू हो गया है.साथ ही सोशल मीडिया पर एक फोटो काफी वायरल हो रही जिसमें एक छात्रा बैनर लिए घूम रही है जिसमें लिखा है अमित शाह को संविधान पढ़ने की जरुरत है …लेकिन अमितशाह का कहना है कि इस कानून को विरोध कर रहे बच्चों ने उस कानून को ठीक से पढ़ा नहीं है. पहले वे इसे ढंग से पढ़ लें, उनकी शंकाए दूर हो जाएंगी.
बहरहाल सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को इस कानून पर रोक लगाने से इनकार कर दिया. हालांकि कोर्ट ने सभी याचिकाओं पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर जनवरी के दूसरे हफ्ते तक जवाब मांगा है. वामपंथी दलों ने आज भारत बंद का ऐलान किया है. इसको लेकर जगह-जगह रेल सेवा भी ठप हो गई है. बिहार के कई इलाकों में चक्का जाम की भी खबरें सामने आ रही है.
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The Rampant Cases of Untouchability and Caste Discrimination
The murder of a child belonging to the scheduled caste community in Saraswati Vidya Mandir…