उच्च शिक्षा में संविधानिक आरक्षण को मनुवादी मोदी सरकार ने खत्म कर दिया है- तेजस्वी
By- Aqil Raza ~
200 प्वाइंट रोस्टर के लिए सरकार द्वारा दायर SLP को सुप्रीम कोर्ट में खारिज हो जाने के बाद, ऐसे में स्पष्ट हो गया है कि अब 5 मार्च 2018 का यूजीसी लेटर ही मान्य होगा, जो विभागवार यानी 13 प्वाइंट रोस्टर लागू करने का निर्देश देता है। सरकार अध्यादेश लाने की बात कहकर धोखा दे चुकी है और कोर्ट ने खिलाफ़ फैसला सुना दिया है। ऐसे में लंबे संघर्ष के बाद उच्च शिक्षा में हासिल संवैधानिक आरक्षण कमोबेश खत्म कर दिया गया है।
वहीं इसपर तेजस्वी यादव का कहना है कि लंबे संघर्ष के बाद उच्च शिक्षा में हासिल संवैधानिक आरक्षण को मनुवादी मोदी सरकार ने लगभग खत्म कर दिया है। 200 प्वाइंट रोस्टर के लिए सरकार द्वारा दायर कमज़ोर SLP को सुप्रीम कोर्ट में खारिज कर दिया गया है। अब विभागवार आरक्षण यानी 13 प्वाइंट रोस्टर लागू होगा।
SC/ST एक्ट की तरह यहाँ भी सरकार ने धोखा दिया। HRD मंत्री अध्यादेश लाने की बात कर पलट चुके है। सवर्ण आरक्षण चंद घंटों में लाने वाले लोग बहुजनों के साथ धोखाधड़ी कर रहे है।
उच्च शिक्षा के दरवाजे अब बहुसंख्यक बहुजन आबादी के लिए बंद हो चुके हैं। विभागवार आरक्षण बंद कर पुराना नियम लागू करो अन्यथा इस देश के उच्च शिक्षण संस्थानों में बहुजन ढूँढने से भी नहीं मिलेंगे।
नागपुरिया ब्रांड मोदी सरकार सामाजिक न्याय विरोधी है। संविधान विरोधी है। दलित, पिछड़ा, अल्पसंख्यक और बहुजन विरोधी है। आरक्षण विरोधी है।
इन्होंने जाँच एजेंसियों और संवैधानिक संस्थाओं का कबाड़ा कर दिया है। ये कट्टर संघी जातिवादी और पूँजीपरस्त लोग देश का बंटाधार कर नफ़रत बोने में लगे है। यानी इसे रोस्टर को तेजस्वी यादव ने मनुवादी करार देते हुए बहुजन विरोधी बताया है और मनुबाद मुर्दाबाद लिखा है।
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