अपने पसंद के राष्ट्रपति बनवाने में जुटे प्रधानमंत्री मोदी
नई दिल्ली: देश को अगला राष्ट्रपति मिलने में अभी दो महीने बाकी हैं. राष्ट्रपति पद के लिए वोटिंग दो महीने बाद यानी जुलाई में होगी. इस चुनाव से पहले बीजेपी वोट की जुगाड़ में दिन रात जुटी हुई है. कल विधानसभा और लोकसभा की 15 सीटों पर हुए उपचुनाव में भी बीजेपी ने पूरा जोर लगाया. आज बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने एनडीए के नेताओं की बैठक बुलाई. इस बैठक में शिवसेना प्रमुख उद्धव टाकरे समेत एनडीए के कुल 32 सहयोगी शामिल हुए. लोकसभा में अभी 545 सांसद हैं. तीन सीटें खाली हैं और दो एंग्लो इंडियन समुदाय के सदस्यों को वोट करने का अधिकार नहीं है तो सदन की संख्या 540 हुई. इसमें एनडीए के कुल 339 सांसद हैं जिनमें दो मनोनीत सदस्य हैं. अब चुनाव में वोट देने वाले कुल सदस्य 337 हुए. हर सांसद के वोट का मूल्य 708 होता है. इस तरह लोकसभा में एनडीए के कुल 2 लाख 38 हजार 596 वोट हुए. 245 सांसदों वाली राज्यसभा में ओडिशा और मणिपुर की एक-एक सीट खाली है. इसके बाद 243 सांसद बचे. इनमें 12 मनोनीत सदस्य हैं. एनडीए के कुल 74 सांसद हैं, चार मनोनीत हैं तो बचे 70 सांसद. एक वोट का मूल्य 708 होता है. इस हिसाब से राज्यसभा में एनडीए के 49 हजार 560 वोट हुए.
राष्ट्रपति के लिए सांसद के साथ विधायक भी वोट डालते हैं. 29 राज्यों में से 17 राज्यों में एनडीए की सरकार है जबकि सभी राज्य मिलाकर एनडीए के 1805 विधायक हैं. सांसदों के वोट का मूल्य निश्चित है लेकिन विधायकों के वोट का मूल्य अलग-अलग राज्यों की जनसंख्या के अनुसार होता है. जैसे सबसे ज्यादा आबादी वाले राज्य उत्तर प्रदेश के एक विधायक के वोट का मूल्य 208 है तो सबसे कम जनसंख्या वाले प्रदेश सिक्किम के वोट का मूल्य मात्र 7 हैं. विधायकों के वोट का हिसाब करें तो एनडीए के 1805 विधायकों के वोटों का मूल्य 2 लाख 44 हजार 436 है.
लोकसभा और राज्य सभा के 771 सांसदों के हैं इस हिसाब से कुल 5 लाख 45 हजार 868 वोट होते हैं. जबकि पूरे देश में 4120 विधायक हैं. विधायकों के कुल वोट 5 लाख 47 हजार 786 हैं. देश में कुल वोट हैं 10 लाख 93 हजार 654 और जीत के लिए आधे से एक ज्यादा यानी 5 लाख 46 हजार 828 वोट चाहिए. एनडीए के सांसद और विधायकों का वोट जोड़कर 5 लाख 32 हजार 592 हुआ, यानी एनडीए को अभी जीत के लिए और 14 हजार 236 वोट चाहिए. अब मान लिया जाए कि उपचुनाव की सभी सीटों पर बीजेपी जीत जाती है तो तीन सांसदों के 2124 वोट और 10 राज्यों की 12 विधानसभा सीटों के 1388 वोट को जोड़ दें तो कुल 3512 वोट होते हैं. यानी अब भी एनडीए को 10 हजार 724 वोट चाहिए और इन्हीं वोटों के लिए एनडीए बड़े स्तर पर विचार करने के लिए आज जुटा है.
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