कोरोना त्सुनामी भारतात येईल? 15 मे पर्यंत कोरोना पीक वर जाईल, दररोज होईल 5600 मृत्यू, यूएस अभ्यास दावा
देश के ऐसे हालातों के बीच अमेरिकी स्टडी में इस बात का अनुमान लगाया गया है कि भारत में मई के मध्य में कोरोना अपने पीक पर होगा और इस दौरान हर दिन 5 हजार से अधिक मौतें होंगी।
भारत में कोरोना वायरस का संक्रमण निरंतर बढ़ता ही जा रहा है। इस संक्रमण से देश के 10 राज्य सबसे अधिक प्रभावित हैं। इनमें दिल्ली, महाराष्ट्र, उत्तरप्रदेश, कर्नाटक, केरळा, छत्तीसगड, मध्य प्रदेश, तामिळनाडू, गुजरात और राजस्थान शामिल हैं। इन राज्यों में कोरोना का संक्रमण सबसे अधिक है। हालात ये हो गए हैं कि लोगों को अस्पताल में बैड नहीं मिल पा रहे। ऑक्सीजन सिंलेडर की कमी हो गई है, दवाओं की कमी हो चली है। जिसके चलते असमय ही लोग मौत के शिकार हो रहे हैं। शमशानों में जगह कम पड़ गई है और लोगों को मौत के बाद भी अपने अंतिम संस्कार के लिए कई दिनों का इंतजार करना पड़ रहा है।
देश के ऐसे हालातों के बीच अमेरिकी स्टडी में इस बात का अनुमान लगाया गया है कि भारत में मई के मध्य में कोरोना अपने पीक पर होगा और इस दौरान हर दिन 5 हजार से अधिक मौतें होंगी।
क्या भारत कोरोना सुनामी की ओर बढ़ रहा है? क्या कुछ ही दिनों बाद भारत में मौजूदा मामलों से तीन गुना ज्यादा केस आ सकते हैं? दरअसल ये सवाल हम इसलिए कर रहे हैं क्योंकि एख अमेरिकी विश्वविद्यालय के अध्ययन में ऐसा ही डराने वाला दावा किया गया है।
एक अमेरिकी विश्वविद्यालय के अध्ययन में चेतावनी दी गई है कि भारत में कोरोना संक्रमण का पीक मई महीने के बीच में होगा। मई के बीच में दैनिक मृत्युदर का आंकड़ा 5600 असेल, यही हालत रहे तो अप्रैल से अगस्त के बीच कोरोना संक्रमण से करीब तीन लाख लोग अपनी जान गंवा देंगे। आपको बता दें कि वाशिंगटन विश्वविद्यालय के इंस्टीट्यूट फॉर हेल्थ मेट्रिक्स एंड इवैल्यूएशन (आईएचएमई) द्वारा ‘कोविड-19 प्रोजेक्शन’ शीर्षक पर अध्ययन किया गया है जो 15 अप्रैल को प्रकाशित हुआ।
इस अध्ययन में दावा किया गया है कि कोरोना माहामारी का ये दौर आने वाले सप्ताह में स्थिति और भी बिगाड़ेगा। भारत में संक्रमण और मौतों की वर्तमान दर के आधार पर आईएचएमई के विशेषज्ञों द्वारा किए गए अध्ययन में कहा गया है कि मई के मध्य में कोरोना अपनी पीक पर होगा। इस अध्ययन के अनुसार 10 मई को दैनिक मौतों की दर 5600 पहुंच जाएगी, वहीं अप्रैल से एक अगस्त के बीच मौतों का आंकड़ा 3 लाख 29 हजार होगा वहीं जुलाई के अंत तक मौत का ये आंकड़ा 6 लाख 65 हजार तक बढ़ सकता है।
वहीं अध्ययन के एक और पहलू में ये भी कहा गया है कि अप्रैल के तीसरे सप्ताह के अंत तक यदि सभी मास्क पहनने की आदत को गंभीरता से लें, तो मौत के इस आंकड़े को 70 हजार तक कम किया जा सकता है। रिपोर्ट की मानें तो सितंबर 2020 से फरवरी 2021 के मध्य भारत में कोरोना संक्रमण के मामलों और मौतों की संख्या में गिरावट देखी गई। लेकिन उसके बाद ये ट्रेंड अचानक ही बदल गया और अप्रैल में कोरोना संक्रमण के मामले तेजी से बढ़ने लगे। पिछले साल सितंबर 2020 में जब कोरोना पीक पर था, उसकी तुलना में संक्रमण के मामले दोगुने हो गए। अप्रैल के पहले और दूसरे सप्ताह के बीच भारत में दैनिक मामलों में सामूहिक रूप से 71 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई, वहीं मौतों का आंकड़ा भी 55 प्रतिशत बढ़ गया। इसके पीछे का कारण सोशल डिस्टेंसिंगऔर मास्क लगाने को लेकर की गई लारवाही बताया गया है।
वाशिंगटन यूनिवर्सिटी में इंस्टीट्यूट फॉर हेल्थ मेट्रिक्स एंड इवैल्यूएशन (आईएचएमई) द्वारा कोविड-19 अनुमान नाम से अध्ययन किया गया। इसी साल 15 अप्रैल को प्रकाशित इस अध्ययन में उम्मीद जताई गई है कि भारत में कोरोना वायरस की दूसरी लहर की रफ्तार को टीकाकरण ही कम कर सकती है। आईएचएमई के विशषज्ञों ने स्टडी में चेताया है कि आने वाले हफ्तों में भारत में कोरोना वायरस से बहुत बुरी हालत होने वाली है। इस अध्ययन के लिए विशेषज्ञों ने भारत में संक्रमण और मौतों की वर्तमान दर का आकलन किया है।
इस स्टडी में अनुमान लगाया गया है कि भारत में इस साल 10 मई तक एक दिन में कोरोना से मरने वालों की संख्या 5600 पहुंच जाएगी। वहीं, 12 अप्रैल से 1 अगस्त के बीच में 3 लाख 29 हजार मौतों का अनुमान लगाया गया है। इस तरह से जुलाई के अंत तक देश में कोरोना वायरस के जान गंवाने वालों की संख्या 6 लाख 65 हजार पार कर जाएगी। वहीं, इस स्टडी में यह भी अनुमान लगाया गया है कि मई के दूसरे हफ्ते तक देश में एक दिन में मिलने वाले कोरोना मरीजों की संख्या 8 लाख पार कर जाएगी। बता दें कि मिशिगन स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ के डॉ. भ्रामर मुखर्जी के नेतृत्व में कोरोना अध्ययन समूह ने भारत में प्रकोप का विश्लेषण करने के लिए अनुमान लगाए हैं।
वर्ल्डोमीटर के मुताबिक शुक्रवार रात 12 पर्यंत... वाजेपर्यंत 24 घंटों में भारत में 345,147 नए कोरोना संक्रमित मिले हैं और इस दौरान रिकॉर्ड 2621 कोरोना मरीजों की मौत हो गई है। देश में महामारी से मरने वालों की कुल संख्या बढक़र 1,89,549 हो गई है। अब तक कोरोना के कुल संक्रमितों की संख्या बढक़र 1,66,02,456 हो गई है। देश में उपचाराधीन मरीजों की संख्या 25,43,914 पर पहुंच गई। इससे पहले गुरुवार रात तक कोरोना वायरस के 3.32 लाख नए केस मिले थे और इसी दौरान करीब 2250 से अधिक लोगों की मौत हो गई थी।
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